Yaha jaane periods miss hone ke kaaran. – यहां जानें पीरियड्स मिस होने के कारण.


यदि आपके पीरियड्स भी मिस हो जाते हैं, तो आपको इसके कारणों का पता होना चाहिए। आइये जानते हैं प्रेगनेंसी के अलावा और कौन से कारण इसके लिए जिम्मेदार हो सकते हैं।

प्रेगनेंसी में पीरियड्स मिस होना बिल्कुल नॉर्मल है। पर कई बार प्रेगनेंसी के बिना भी महिलाओं में पीरियड्स मिस हो जाता है। ऐसे में यह समझना बहुत मुश्किल होता है की ऐसा क्यों हो रहा। परंतु आपको बताएं की मिस्ड पीरियड्स (Causes of missed periods) के पीछे कई अन्य स्थितियां जिम्मेदार हो सकती हैं। यदि आपके साथ भी ऐसा होता है, तो आपको इसके कारणों का पता होना चाहिए। प्रेगनेंसी के अलावा मिस्ड पीरियड्स (missed periods) के कारण जानने के लिए, हेल्थ शॉट्स ने सी के बिरला हॉस्पिटल, गुरुग्राम की ऑब्स्ट्रक्ट्रिक्स और गायनेकोलॉजी डिपार्टमेंट की लीड कंसलटेंट डॉक्टर आस्था दयाल से बात की। चलिए जानते हैं इस विषय पर अधिक विस्तार से।

यहां जानें पीरियड्स मिस होने के कारण (Causes of missed periods)

1. पहली बार पीरियड्स आने पर

एक्सपर्ट के अनुसार हर महिला के जीवन में कभी न कभी ऐसा समय जरूर आता है जब उनके ओवुलेशन इरेगुलर होते हैं। खासकर जब लड़कियों को पहली बार पीरियड्स आता है, तो उस दौरान ओवुलेशन के इरेगुलर होने की वजह से पीरियड्स मिस होना या पीरियड्स में लंबा गैप आने जैसी स्थिति देखने को मिलती है।

मेनोपॉज के दौरान हार्मोंस में भी उतार चढ़ाव आता है, चित्र : एडॉबीस्टॉक

2. प्रीमेनोपॉजल फेज में

जब महिलाएं 45 से 50 की उम्र में होती हैं, और उनके मेनोपॉज का समय नजदीक होता है, तो इस दौरान ओवुलेशन में उतार-चढ़ाव आता है, जिसकी वजह से पीरियड्स मिस हो सकते हैं। या फिर पीरियड के बीच में सामान्य से अधिक गैप हो सकता है। इतना ही नहीं मेनोपॉज के दौरान हार्मोंस में भी उतार चढ़ाव आता है, खासकर इस दौरान रिप्रोडक्टिव हार्मोंस पर बेहद नकारात्मक असर पड़ता है जिसकी वजह से पीरियड्स मिस हो सकते हैं।

3. स्ट्रेस और एंजाइटी

डॉक्टर के अनुसार स्ट्रेस और एंजाइटी पीरियड्स मिस होने के सामान्य कारणों में से एक हैं। स्ट्रेस gonadotrophin हार्मोन के प्रोडक्शन को प्रभावित करती हैं। यह एक प्रकार का हार्मोन है, जो ओवुलेशन और मेंस्ट्रूअल साइकिल को रेगुलेट करता है। इस स्थिति में पीरियड्स मिस होना कॉमन है।

यह भी पढ़ें

बेबी प्लान करने से पहले इन 4 न्यूट्रीएंट्स का जरूर रखें ध्यान, फर्टिलिटी बढ़ाने में हैं मददगार

यह भी पढ़ें:  लुब्रिकेंट के तौर पर इस्तेमाल कर रहे हैं कोकोनट ऑयल, तो पहले जान लें इसके फायदे और नुकसान

4. लाइफ़स्टाइल चेंजेज

अस्था दयाल के अनुसार यदि आपके नियमित लाइफस्टाइल में अचानक से कोई बदलाव होता है। जैसे की अपने एक्सरसाइज करना शुरू किया है, या आपके वजन में असामान्य रूप से बदलाव आया है या फिर आप कहीं लंबे ट्रैवलिंग पर गई है साथ ही यदि आपका वातावरण अचानक से बदल गया है तो यह सभी पीरियड्स मिस होने के कारण हो सकते हैं।

pcos ke karan insulin resistance badh jata hai.
पीसीओएस के कारण रोगग्रस्त महिलाएं इंसुलिन के प्रति प्रतिरोध प्रदर्शित करने लगती हैं।चित्र : अडॉबीस्टॉक

5. पीसीओएस

पीसीओएस एक लाइफस्टाइल डिसऑर्डर है, जो किसी भी महिला को प्रभावित कर सकता है। इस स्थिति में हार्मोंस असंतुलित हो जाते हैं, जिसकी वजह से पीरियड्स मिस हो सकते हैं। इरेगुलर पीरियड्स इस स्थिति के सबसे बड़े लक्षण हैं। वहीं इस दौरान वेट गेन, इनफर्टिलिटी, एक्ने, हेयर लॉस और चेहरे पर अत्यधिक हेयर ग्रोथ जैसे लक्षण देखने को मिल सकते हैं।

6. क्रॉनिक डिजीज

क्रॉनिक हेल्थ कंडीशंस मेंस्ट्रूअल साइकिल को प्रभावित कर सकते हैं, जिसकी वजह से पीरियड्स मिस हो जाता है। पिट्यूटरी टयूमर, एडर्नल ग्लैंड से जुड़ी समस्याएं, ओवेरियन सिस्ट, लीवर और किडनी संबंधी समस्याएं, डायबिटीज आदि इरेगुलर पीरियड्स का कारण बन सकते हैं। इन सभी स्थितियों में रिप्रोडक्टिव हार्मोन पर नकारात्मक असर पड़ता है और यह फर्टिलिटी संबंधी समस्याओं का कारण बनते हैं। जिसकी वजह से पीरियड इरेगुलर हो जाता है।

Thyroid ke lakshnon ko manage karna jaroori hai.
थायरॉइड की स्थिति में कुछ खाद्य पदार्थों से परहेज करना जरूरी है। चित्र : अडोबी स्टॉक

7. थायराइड की समस्या

यदि किसी महिला को थायराइड है, तो इस स्थिति में पीरियड्स मिस होना सामान्य है। थायराइड हार्मोन बॉडी में कई फंक्शंस को रेगुलेट करता है, जिनमें से मेंस्ट्रूअल साइकिल भी शामिल है। यदि शरीर में अत्यधिक थायराइड हार्मोन रिलीज हो या फिर कम हो तो दोनों ही स्थिति परेशानियों का कारण बन सकती है। वहीं ऐसे में पीरियड्स भी अनियमित हो जाते हैं।

8. हार्मोनल पिल्स

यदि आप किसी स्वास्थ्य संबंधी समस्या से परेशान हैं, जिनमें आपको हार्मोनल पिल्स दिए जा रहे हैं, या फिर आप कांट्रेसेप्टिव पिल्स लेती हैं, तो इस स्थिति में हार्मोंस असंतुलित हो जाते हैं। जिसकी वजह से पीरियड्स इरेगुलर हो सकते हैं।

यह भी पढ़ें: क्या पीरियड में कम हो रही है ब्लीडिंग? तो जानिए क्या हो सकता है इसका कारण और समाधान



Source link