these 8 tips will help you to increase fertility.- प्रजनन क्षमता बढ़ाने में मददगार हो सकते हैं ये 8 उपाय।


बहुत सारी जागरुकता के बावजूद अब भी ज्यादातर लोग मां बनने के लिए एकसर महिलाओं में ही कारण ढूंढते हैं। जबकि कई बार इसके लिए कोई भी स्वास्थ्य स्थिति जिम्मेदार नहीं होती। खराब जीवनशैली के कारण स्त्री और पुरुष में से किसी को भी बांझपन की समस्या हो सकती है। अगर आप भी बेबी प्लान करना चाहते हैं, तो जानिए कैसे लाइफस्टाइलिंग से आपकी फर्टिलिटी (जीवनशैली की आदतें और फर्टिलिटी) प्रभावित होती है। साथ ही जानिए वे उपाय जो आपकी जन्म क्षमता में सुधार (फर्टिलिटी कैसे बढ़ाएं) कर सकते हैं।

लाइफस्टाइल आपकी फर्टिलिटी को कैसे प्रभावित करता है और कैसे जन्म क्षमता को सींक जा सकता है, यह जानने के लिए हमने बात की आर्की वीमेन हेल्थ केयर एंड फर्टिलिटी के डायरेक्टर डॉ पूजा दीवान से की।

डॉ पूजाएं कहती हैं, “ज्यादातर लोगां की जीवनशैली ऐसी हो गई है जिसमें कुछ भी निश्चित नहीं है। भागदौड़ और समय न होने के कारण हम कुछ खा रहे हैं। थकान को दूर करने के लिए धूम्रपान, एल्कोहल का सेवन कर रहे हैं। रात भर सोशल मीडिया का उपयोग कर रहे हैं। ये सभी कारण प्रजनन क्षमता को प्रभावित करते हैं।

वास्तव में ये सभी चीजें हार्मोन पर निर्भर करती हैं और हार्मोन ठीक प्रकार से ठीक हो जाती हैं, जब आपका रास्ता सही हो। इसलिए अगर आप बेबी प्लान कर रहे हैं, तो आपको सबसे पहले अपनी लाइफस्टाइल पर ध्यान देना होगा।”

लाइफस्टाइल आपकी फर्टिलिटी को कैसे प्रभावित करता है।

इनफर्टिलिटी के क्या कारण हो सकते हैं

जीवनशैली की खराब आदतें महिलाओं और पुरुषों दोनों में ही बांझपन का कारण बन सकती हैं। इनमें उम्र के अलावा (उम्र के साथ जन्म क्षमता में कमी आती है, विशेष रूप से महिलाओं में), कुछ चिकित्सा परिस्थितियां (जैसे पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम या शिकायत), एसटीआई यानी यौन संक्रमण, विविधता विकार, जीवन शैली कारक (जैसे) धूम्रपान, अत्यधिक शराब का सेवन, या मोटापा), और कुछ दवाएं या उपचार (जैसे जाम)।

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फर्टिलिटी को बेहतर बनाने के लिए अपनी लाइफस्टाइल की इन 5 बातों पर दें ध्यान

1 इंटरकोर्स (संभोग)

डॉ. पूजा दीवान बताती हैं कि कई बार पुरुषों को ये पता नहीं चलता कि पेनिट्रेशन की सही जगह क्या है। कई बार गलत जगह से इंटरकोर्स करने की वजह से भी महिलाएं कंसिव नहीं कर पाती हैं। तो सबसे पहले इसके बारे में अपने डॉक्टर से जानकारी लें और फिर कोशिश करें।

2 तनाव को कम करें (तनाव को मैनेज करें)

डॉ. पूजा दीवान कहता है कि तनाव के कारण भी बांझपन हो सकता है। इसलिए सबसे पहले आपको तनाव को कम करने के लिए योगा, एक्सरसाइज और मेडिटेशन करना चाहिए। उच्च स्तर का तनाव क्षमता को प्रभावित कर सकता है।

3 स्नेहक (चिकनाई)

कई बार इंटरकोर्स के समय हम कुछ लब्स का इस्तेमाल करते हैं। बाज़ार में कई लुंकेंट मौजूद हैं। कुछ समुद्रतट हैं, तो कुछ में गंध विद्यमान है। कई लुब्रिकेंट ऐसे होते हैं जो स्पर्म को मार देते हैं। इससे स्पर्म का प्रभाव समाप्त हो जाता है। इसलिए विशेषज्ञों की सलाह लेने के बाद ही लुब्रिकेंट चुना जाएगा। वे ऐसे हों, जो शुक्राणु को जीवित रखें।

जाने कैसे बढ़ायें प्रजनन क्षमता
जीवनशैली की खराब आदतें महिलाओं और पुरुषों दोनों में ही बांझपन का कारण बन सकती हैं।

4 पर्याप्त नींद लें (पर्याप्त नींद लें)

हार्मोनल संतुलन और समग्र कल्याण का समर्थन करने के लिए एक अच्छी नींद लेना बहुत जरूरी है। प्रति रात 7-9 घंटे की नींद लें। कई बार नींद ठीक नहीं होने के कारण महिलाओं का मासिक धर्म अनियमित हो जाता है जिससे भी जन्म क्षमता प्रभावित होती है।

5 शराब और धूम्रपान से बचें (शराब और धूम्रपान)

किसी भी तरह का धूम्रपान करने से महिलाओं की गुणवत्ता पर फर्क पड़ता है। साथ ही पुरुषों में स्पर्म काउंट और आंदोलन पर भी फर्क है। इसलिए यह जरूरी है कि अपनी जीवनशैली से शराब और धूम्रपान को बिल्कुल कम कर दें। कम से कम तक के लिए इसकी सख्ती का पालन करें, जब तक आप बच्चे की योजना नहीं मानते हैं।

6 पुरुष बहुत ज्यादा टाईट ड्रेस न जीनीज (टाइट अंडरगारमेंट्स)

अगर पुरुष ज्यादा टाईट ड्रेस या अंडरगारमेंट हैं तो इससे उनके टेस्टिकल्स शरीर से चिपक जाते हैं। शरीर का तापमान ज्यादा गर्म होता है अंडकोष की तुलना में। उनमें से कोई भी ठीक से स्पर्म नहीं पाता है। अंडकोष के शरीर से बाहर होने का मतलब है कि लड़के ठंडे रहेंगे। इसलिए पुरुषों के लिए वर्किंग वर्क की सलाह दी जाती है।

7 आहार लें (संतुलित आहार)

एक संपूर्ण आहार का सेवन करें जिसमें फल, शाकाहारी, लीन प्रोटीन और स्वस्थ वसा शामिल हों। जाति से सम्बद्ध पदार्थ, जैसे जांबाज, पत्तेदार साग और दीवाने शामिल हों। इससे भी फिल्टिलिटी अच्छी होती है।

8 स्वस्थ वजन बनाए रखें (स्वस्थ वजन)

मोटापा और वजन दोनों ही पैदा करने की क्षमता को प्रभावित कर सकते हैं। संतुलित आहार का पालन करके और नियमित शारीरिक स्थिति में संलग्न होकर स्वस्थ शरीर के वजन को बनाए रखने में मदद मिल सकती है।

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