जम्मू-कश्मीर में स्वतंत्र और निष्पक्ष विधानसभा चुनाव सुनिश्चित करने के लिए बहुस्तरीय सुरक्षा व्यवस्था की गई है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने यह जानकारी दी। कश्मीर जोन के पुलिस महानिरीक्षक वीके बिरदी ने पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘चूंकि पहले चरण का मतदान 18 सितंबर को होगा, इसलिए जम्मू-कश्मीर पुलिस ने विधानसभा चुनाव के लिए व्यापक सुरक्षा व्यवस्था की है ताकि अधिक से अधिक लोग अपने मताधिकार का प्रयोग कर सकें।’’ बिरदी ने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश में चुनाव के लिए बहुस्तरीय सुरक्षा के तहत केंद्रीय सशस्त्र अर्धसैनिक बल (सीएपीएफ), जम्मू-कश्मीर सशस्त्र पुलिस और जेके पुलिस को तैनात किया जाएगा। 2019 में अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद यह पहला चुनाव होगा।
उन्होंने कहा, “सीएपीएफ इकाइयां, जेकेएपी और जेकेपी सुरक्षा योजना का हिस्सा हैं। बहुस्तरीय सुरक्षा योजना है, चाहे वह स्ट्रांग रूम, मतदान केंद्र या मतदान बूथ के लिए हो।”
आईजीपी ने कहा, “जम्मू-कश्मीर पुलिस ने यह सुनिश्चित करने के लिए उचित व्यवस्था की है कि चुनाव स्वतंत्र, निष्पक्ष और भयमुक्त माहौल में हों। सराहनीय बात यह है कि अधिक से अधिक लोग अपने मताधिकार का प्रयोग कर सकें और लोकतांत्रिक प्रक्रिया में भाग ले सकें। हमारा हमेशा प्रयास रहेगा कि सुरक्षित माहौल उपलब्ध कराया जाए ताकि लोग बड़ी संख्या में मतदान करने आएं।”
बिरदी ने कहा कि घाटी में स्थिति को अस्थिर करने के किसी भी प्रयास को विफल करने के लिए सुरक्षा तंत्र सतर्क और सजग है।
जम्मू-कश्मीर में तीन चरणों में चुनाव हो रहे हैं। पहले चरण में बुधवार को 24 सीटों पर मतदान होगा, उसके बाद 25 सितंबर को दूसरे चरण में 26 सीटों पर मतदान होगा। तीसरे चरण में 40 सीटों के लिए 1 अक्टूबर को मतदान होगा जबकि मतगणना 8 अक्टूबर को होगी।