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बिलासपुर: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर जिले के तखतपुर क्षेत्र के तिंगीपुर गांव में एक हाथी के शावक की मौत हो गई, यहां के वन विभाग को चिंता है। हालाँकि, अधिकारियों ने क्षेत्राधिकार की कमी का अवलोकन देते हुए कार्रवाई से हाथ खींच लिया है। डीएफओ सत्यदेव शर्मा का कहना है कि शावक की मौत का स्थान बिलासपुर वन मंडल के क्षेत्र में नहीं है।
स्थानीय परंपरा के अनुसार, परसापारा यादव गांव में शावक का शव मिला था। वन विभाग के अधिकारी की ओर से प्रदेश में सूचना दी गई, लेकिन तब तक शव का भुगतान किया जा चुका था, जिससे अंदेशा है कि शावक की मौत तीन चार दिन पहले हुई होगी। शुरुआती जांच में मौत का कारण करंट माना जा रहा है, लेकिन बिजली के तार के मिलने से इसकी पुष्टि नहीं हो पाई है।
मृत्यु के कारण पर संदेह, जाँच जारी
शावक के घातक करंट से खतरा है, लेकिन बिजली के तार पर लगे उपकरण का पता नहीं चल पा रहा है, लेकिन अन्य मजबूत करंट से नुकसान नहीं हो सकता है। अधिकारियों का कहना है कि संभवत: छोटे भाई के लिए छोड़े गए जाल में फंस गया हो। असफल कारण का खुलासा मॉडल और विशेषज्ञ की जांच के बाद ही होगा। वन विभाग ने सूक्ष्म पंचनामा तैयार कर जांच को आगे बढ़ाया है।
प्लॉटों के शिकार की साजिश का शक
वन विभाग के अधिकारियों का आरोप है कि संभवतया छोटे बच्चे को जाल में फंसाकर फंसा दिया गया है, जिसमें हाथी का बच्चा फंस गया है। इससे यह खतरा भी पैदा हो रहा है कि किसी भी बड़ी साजिश के तहत निर्मित सामानों को नुकसान पहुंचाया जा रहा है।
दो अव्यवस्थित निबंधन में
मामले में दो संदिग्धों पर मुकदमा चलाया गया और उन्हें अदालत में पेश किया गया। वन विभाग मामले की गहराई से जांच कर रहा है ताकि इस घटना के वास्तविक निष्कर्षों का पता लगाया जा सके।
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पहले प्रकाशित : 3 नवंबर, 2024, 13:21 IST